उदयपुर 14 सितंबर. मुस्कान क्लब यूथ रिवजिटेड ने अपना शनिवारीय विशेष कार्यक्रम हिन्दी दिवस कवि सम्मेलन आयोजित कर मनाया।
कार्यक्रम की शुरुआत श्रीमती सुरेखा बाबेल की ईश वंदना से हुई। अध्यक्षता गट्टानी फाऊंडेशन के केयर टेकर श्री नीरज गट्टानी ने की व मंचासीन उपाध्यक्ष के के त्रिपाठी , सूरजमल पोरवाल रहे व संचालन डा नरेश शर्मा ने किया।
मीडिया प्रभारी प्रो विमल शर्मा ने बताया कि आज के कार्यक्रम मे तीन विशेष आमंत्रित कवि मेवाड़ी के हास्य कवि दाड़म चंद दाड़म, गीत गजल लेखक अरुण त्रिपाठी व श्रंगार रस के कवि डॉ उपवन पंड्या ‘उजाला’ थे। दाडम चंद दाडम ने रोचक मेवाड़ी कविताओं से सबको बहुत गुदगुदाया । उनकी रचना “नारी कई नी करी शके ” व “देखो मेरा देश कैसे आगे बढ़ रहा है देश मे हिन्दी सप्ताह मनाना पड रहा है” सुना कर सभी को चिंतन करने पर बाध्य किया। श्री अरुण त्रिपाठी ने अपने चिर परिचित अंदाज़ मे शेरो-शायरी सुना सभी को मोहित कर दिया उनकी कविताएँ “हिन्दी दिवस की शुभवेला मे”, ” हिन्दी हमारी संस्कृति”, व “मुसीबत के समय केवल बेटियाँ रह जायेगी” सुनाकर सभी से खूब दाद पाई ।
डॉ उपवन पंड्या ‘उजाला’ ने श्रंगार रस से ओत प्रोत गीत “नमी आंख की मै छुपाने चला हू” को सभी ने खूब सराहा, “बड़ों के वृद्धजन के आदर में मुझे झुकना सिखाया हिंदी ने” मे हमारी संस्कृति की झलक प्रस्तुत की व “तुम्हे तुम्हारे सजन मिलेंगे हमें सजल दो नयन मिलेंगे” विछोह गीत ने करुणामय माहौल बना दिया।
आमंत्रित कवियों के अलावा क्लब के सदस्यों ने भी अपनी रचनाएँ सुनाई। राष्ट्रगान से कार्यक्रम का समापन हुआ।