मोबाइल टावर लगाने के नाम पर धोखाधड़ी : जमीन का मुआवजा, नौकरी एवं हर महीने रेंट के रूप में मोटी कमाई का लालच देकर लोगों से रूपये ऐंठता था शातिर
जयपुर 26 मार्च। उदयपुर जिले की थाना झाडोल पुलिस ने मोबाइल टावर लगाने के नाम पर धोखाधड़ी करने के मामले में शातिर बदमाश जगदीश यादव पुत्र श्रीलाल निवासी आमौर कला, जिला मुरैना मध्यप्रदेश को मात्र 24 घंटे के अंदर गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी जमीन के मुआवजा, नौकरी एवं हर महीने रेंट के रूप में मोटी कमाई का लालच देकर लोगों से रूपये ऐंठ लेता है।
एसपी योगेश गोयल ने बताया कि इस संबंध में मंगलवार को पीड़ित द्वारा थाना झाडोल पर रिपोर्ट दी गई थी 11 मार्च को जगदीश यादव उनके घर आया था, जिसने खुद को वीआई-इंडिया टावर कंपनी, सेण्ट्रल दिल्ली का सुपरवाईजर अधिकारी होना बता कहा कि वह टावर सर्वे के लिए आया है। यदि वे अपनी जमीन पर टावर लगाते हैं तो उनको एक नौकरी 12000 रुपये प्रतिमाह की, प्रतिमाह 8000 रुपये रेन्ट तथा 22 लाख रुपये का मुआवजा मिलेगा।
उसने यह भी बोला कि यदि वे अभी 1 लाख रूपये देते हो तो मुआवजा 6 लाख रुपये बढा दूंगा, जिससे मुआवजा 28 लाख रुपये मिलेगा। उसके बाद उसने 8000 रुपये कागजात के लिए मांगे जिस पर उसने 6600 रूपये जगदीश को दे दिये। अब आज दिनांक तक कंपनी का कोई टावर नही लगा । उक्त व्यक्ति ने उसके दोस्त देवीलाल निवासी लुणावतो का खेरवाडा के साथ भी टावर लगाने के नाम पर 4000 रुपये की धोखाधडी की,इसके अलावा अन्य व्यक्तियों के साथ भी इसने ऐसी धोखाधडी की ये सुनने में आ रहा है। रिपोर्ट पर प्रकरण दर्ज कर अनुसंधान प्रारम्भ किया गया।
एसपी गोयल द्वारा मुल्जिम की धरपकड व प्रकरण के खुलासे के संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश प्रदान किये गये। जिस पर एएसपी अंजना सुखवाल व सीओ झाड़ोल नैत्रपाल सिंह के सुपरविजन एवं एसएचओ फैलीराम मीणा मय टीम द्वारा तकनीकी अनुसंधान के आधार पर प्रकरण का खुलासा करते हुये टावर लगाने के नाम पर धोखाधडी करने वाले आरोपी जगदीश को 24 घण्टो के अंदर उदयपुर के एक होटल से डिटेन कर बाद पुछताछ गिरफ्तार किया गया।
जिससे मनोवैज्ञानिक एवं तकनीकी साक्ष्य के आधार पर गहन पुछताछ जारी है। आरोपी जगदीश द्वारा अन्य स्थानों पर घटना करना स्वीकार किया गया हैं। इस कार्रवाई में एएसआई जगदीश, कांस्टेबल सुभाष चन्द्र (विशेष भूमिका) समेत रिक्रूट कांस्टेबल ललित शामिल थे।