ज्योति कलश संस्कृति चेतना यात्रा का हुआ जगह-जगह भव्य स्वागत

अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति
उमडा जन सैलाब
विप्र फाउंडेशन द्वारा जगदीश चोक पर हुई भव्य संध्या आरती
गंगा आरती के साथ विदा हुआ सम्वत् 2081
आज (दिनांक: 30 मार्च ) आलोक संस्थान के छात्र-छात्राएं तिलक लगाकर, नीम की कोपलें, मिश्री खिलाकर देंगे नव सम्वत्सर की शुभकामनाएं
उदयपुर 29 मार्च। ढोल नगाड़ो, जय घोश नव सम्वत्सर के नारों और एकलिंग नाथ की जय के उद्घोश के साथ जब एकलिंग जी से ज्योति कलश संस्कृति चेतना यात्रा का शुभारम्भ हुआ तो ऐसा लगा मानो स्वयं मेवाड़नाथ स्वागत करने पधारे और डमरू की गूंज से गूंजायमान हो उठा हो। अवसर था अखिल भारतीय नववर्श समारोह समिति, आलोक संस्थान, नगर निगम उदयपुर, और सर्व समाज, संगठनों के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित नव संवत्सर कार्यक्रम के अन्तर्गत ज्योति कलष संस्कृति चेतना यात्रा का। एकलिंगजी से ज्योति कलश संस्कृति चेतना यात्रा का शुभारम्भ श्री पंच दशनाम जूना अखाड़ा बिजोलाई बालाजी आश्रम जोधपुर के श्री श्री 1008 महामंडलेष्वर सोमेश्वर गिरी जी महाराज, अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति के राश्ट्रीय सचिव डाॅ. प्रदीप कुमावत, महाराज रतलाम श्रीराम लक्ष्मण सिंह के मुख्य आतिथ्य मे ज्योति प्रज्जवलित कर किया गया।यहीं से बाईक राईडर क्लब द्वारा बाईक रैली निकाली गई।
एकलिंग से प्रारम्भ हुई ज्योति कलश संस्कृति चेतना यात्रा का अमरखजी महादेव पर अमरखजी विकास समिति द्वारा भव्य स्वागत किया गया। यहां पर महोदव-बालकराम- भगवान परशुराम का मिलन घूमधाम से हुआ। अम्बेरी, अरिहंत, सनाढ्य मार्बल द्वारा, राधिका पैलेस द्वारा, सुखेर चैराहें पर, भुवाणा, सेलेब्रेषन माॅल, आर के सर्किल, पुला, फतेहपुरा चौराह पहुंची! फतेहपुरा पर अखाड़ा प्रदर्शन किया गया! फिर सुखाड़िया सर्कल, राॅयल मोर्टस, पंचवटी, चेटक पहुंची! सर्व समाजों, संगठनो, द्वारा भव्य स्वागत किया गया! हाथीपोल से मोती चौहटा, घंटाघर होते हुये जगदीश मंदिर पहुँची। जगदीश चोक पर विप्र फाउण्डेशन के तत्वाधान में अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति के राष्ट्रीय सचिव डॉ प्रदीप कुमावत की अध्यक्षता विप्र फाउण्डेशन के राष्ट्रीय सचिव प्रमोद पालीवाल, प्रदेश अध्यक्ष डॉ नरेंद्र पालीवाल के मुख्य आतिथ्य मे भव्य संध्या आरती की गई। जगदीश मंदिर प्रांगण में सप्त ज्योतियों का समागम किया गया जो गणगौर घाट पहुँची।
गंगा आरती के साथ विदा हुआ सम्वत् 2081
इस अवसर पर अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति के राष्ट्रीय सचिव डाॅ. प्रदीप कुमावत ने बताया कि ज्योति कलश संस्कृति चेतना यात्रा का गणगौर घाट पहुँचने पर भव्य स्वागत, गुरू पूजन और वन्दन किया गया। गणगौर घाट पर काशी विष्वनाथ की तरह भव्य गंगा आरती कर सम्वत् 2081 को विदा किया गया।
गणगौर घाट पर सम्बोधित करते हुये अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति के राष्ट्रीय सचिव डाॅ. प्रदीप कुमावत ने कहा कि आज जो ज्योतिकलष संस्कृति चेतना यात्रा का जगह-जगह भव्य स्वागत हुआ उससे प्रतीत होता है कि जो अखिल भारतीय नववर्श समारोह समिति ने 40 वर्शाें पहले प्रयास किया उसका परिणाम अब नजर आने लगा है। लोगों में भारतीय संस्कृति के प्रति जोष देखकर ऐसा लगता है कि लोग नव संवत्सर को नये साल के रूप में मनाने लगे है।
इस अवसर पर सर्व संत समाज, सीतामऊ मंदसोर के दिलीप पटवा, कमलेंद्र सिंह पवार, निश्चय कुमावत, प्रतीक कुमावत, शिव सिंह सोलंकी, जितेश कुमावत, कांता कुमावत, सहित अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति, बजरंग सेना मेवाड, विप्र फाउंडेशन, विप्र महासेना, भारत विकास परिषद मेवाड, आलोक संस्थान, सर्व समाज, संगठनो के पदाधिकारी उपस्थित थे!
आज ( 30 मार्च) आलोक संस्थान के छात्र-छात्राएं तिलक लगाकर, नीम की कोपलें, मिश्री खिलाकर देंगे नव सम्वत्सर की शुभकामनाएं
डाॅ. प्रदीप कुमावत ने बताया कि आज (30 मार्च) प्रातःकाल नव सम्वत्सर की वेला में सूर्यदेव को अघ्र्य प्रदान किया जाएगा। प्रातःकाल षहर के प्रमुख चैराहों पर आलोक संस्थान के छात्र-छात्राएँ ध्यानवेश पहनकर प्रातः 8 बजे से 11 बजे तक सम्पूर्ण उदयपुरवासियों को शहर के प्रमुख चैराहों पर नव सम्वत्सर की शुभकामनाएं नीम, मिश्री व काली मिर्च खिलाकर नव सम्वत्सर की शुभकामनाएँ देंगे। साथ ही ईको फ्रेण्डली हल्दी-चंदन युक्त तिलक लगाकर लोगों को नव सम्वत्सर पर पर्यावरण रक्षा का संदेश भी इस माध्यम से देंगे, वहीं छात्रों द्वारा अपने हाथों से बनाये 20 हजार नव सम्वत्सर की शुभकामनाओं के संदेश पत्रक वितरित किए जाएँगे तथा प्रत्येक परिवारजनों से यह निवेदन किया जाएगा कि इस अवसर पर वे सभी अपने-अपने घरों में पाँच दीपक अवश्य जलाएँ यह संदेश भी इस कार्यक्रम के माध्यम से दिया जाएगा।

By Udaipurviews

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