आगे झाडू बुहार मार्ग साफ करते पीछे कचरा उठाते चले
बारिश के मौसम मे बिना बारिश आनन्द बरसा
उदयपुर, इस्काॅन रथ यात्रा महामहोत्सव मे शुक्रवार को भगवान को भव्य अति सुन्दर सुसज्जित रथ मे विराजमान कर ठीक 8 बजे घोड़ा गाडी बग्गी ऊंट गाडी गाजे बाजे लवाजमे , माताऐ सिर पर कलश के साथ जैसे ही निकली हरे कृष्ण हरे राम से मन्दिर गूंज उठा।जैसे ही नागदा रेस्टोरेंट मैन रोड आये भक्तो का हुजूम जुडता गया। मायापुर वासी ने बताया कि आनन्द प्लाजा से यूनिवर्सिटी रोड पर आते आते मार्ग मे जगह जगह जगन्नाथ जी का स्वागत सत्कार आरती पुष्पाभिषेक करने की होड लग गई। मार्ग मे 51 स्वागत द्वार सजाये जये तो 100 से अधिक स्थानो पर आरती हुई। इतने ही काउंटर स्टाल मे विभिन्न तरह के खाद्य पदार्थ परोसे जा रहे थे। यात्रा का आलम ये था कि आगे का एक छोर यूनिवर्सिटीज मैन गेट पर था तो पीछे नागदा रेस्टोरेंट पर भगवान का रथ चल रहा था। रथोत्सव का नेतृत्व न्यूजीलैंड के पंचरत्न प्रभु कर रहे थे,जो स्वंय वृन्दावन के देवहरि प्रभु और स्थानीय वैष्णवो ब्रह्मचारी के साथ नाचते गाते बजाते झूमते हुए आनन्द ले रहे थे।माताऐ रस्सा खींच कर पुण्य प्राप्त कर रही थी तो नाचने गाने मे मस्त हो रही थी।थकने का तो नामोनिशान नही नजर आया। बोहरा गणेश जी आते आते तो सभी रास्ते जाम हो गये चोराहा भक्तो से खचाखच भर गया,जहां जगन्नाथ जी का बोहरा गणेश जी से मिलान हुआ। अनेक संस्थाओ, समाज जन, गणमान्य लोगो तथा 5000 भक्तो ने दीप जला ओम जय जगदीश हरे महाआरती कर धन्य हुए। डाॅ.बालकृष्ण शर्मा के अनुसार खुशी की बात ये रही कि पूरी यात्रा मे बारिश की एक बूंद नही गिरी जबकि आरती के तुरन्त बाद इन्द्र ने भगवान जगन्नाथ जी और भक्तो का जलाभिषेक किया तो देवताओ ने आकाश से शंख की छींटें बरसाये। जो 2 मिनट के बाद बन्द भी हो गए। उसके बाद मन्दिर पहुंचने तक बारिश नहीं हुई। जिसे सब जगन्नाथ जी की कृपा मान रहे है।भक्तो की जबरदस्त भीड मार्ग मे जगह जगह स्वागत आरती के कारण विलम्ब से सवा बजे मन्दिर पहुंचे। किन्तु पूरे मार्ग मे पुलिस प्रशासन और भक्तो के अनुशासन से किसी को भी जरा भी तकलीफ नही हुई। मायापुर वासी ने सभी का धन्यवाद कर आभार जताया।