चित्तौड़गढ़ 7 नवम्बर. प्रसिद्द कथाकार प्रियंवद के अनुसार देश का प्रमुख साहित्यिक आयोजन संगमन इस बार चित्तौड़गढ़ शहर में होने जा रहा है। आगामी 12 और 13 नवम्बर को शहर के होटल अमृत मंथन में आयोज्य इस साहित्यिक सम्मलेन में राज्यभर के लगभग तीस बड़े नामचीन लेखक शिरकत करने जा रहे हैं। संगमन कुछ साथियों का रचनात्मक और बौद्धिक हस्तक्षेप करता हुआ सहकारी उपक्रम है जिसमें देशभर से लेखक जुड़े हुए हैं। इस तरह के देश के अलग-अलग हिस्सों में अब तक कई आयोजन हो चुके हैं। यह चौबीसवीं कड़ी है।
स्थानीय संयोजक डॉ. कनक जैन के अनुसार नितांत अनौपचारिक ढंग से होने वाले इस कार्यक्रम में जो रचनाकार हिस्सेदारी करने के लिए सहमत हुए हैं उनमें प्रसिद्द सम्पादक ओम थानवी, कवि अंबिकादत्त, अनंत भटनागर,सदाशिव श्रोत्रिय,विनोद पदरज,प्रभात शामिल हैं। आलोचकों में जीवन सिंह, नंद किशोर आचार्य,हेतु भारद्वाज,माधव हाड़ा,राजाराम भादू,पल्लव,हिमांशु पंड्या आ रहे हैं। राजस्थानी के लेखकों में चंद्र प्रकाश देवल,मालचंद तिवाड़ी तो कथाकारों में चरण सिंह पथिक, तराना परवीन, तसनीम ख़ान आएंगी। विविध क्षेत्रों से आने वालों में सिने जानकार विजया सिंह, वरिष्ठ रंगकर्मी भानु भारती, चित्रकार हेमंत द्विवेदी, युवा काथाकार संदीप मील, साहित्यकार सत्यनारायण व्यास,आदिवासी विमर्श के हस्ताक्षर हरिराम मीणा ने आने के लिए सहमति दी हैं। संगमन से जुड़े लोगों में देशभर से अमरीक सिंह दीप,अविनाश मिश्र,ख़ान अहमद फ़ारूक़,जीवेश प्रभाकर,दिनकर कुमार और पंकज दीक्षित आएँगे। स्थानीय संयोजन विष्णु कुमार शर्मा ने बताया कि आयोजन में पंकज दीक्षित द्वारा कविता पोस्टर की एक प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी। कार्यक्रम के संयोजन से जुड़े डॉ. माणिक के अनुसार सम्मलेन का विषय सृजनात्मकता के क्षितिज रखा गया है जिसमें रचनाकार अपनी रचना प्रक्रिया पर अनुभव साझा करेंगे। आयोजन में राज्यभर से कई लोगों के बतौर श्रोता पहूंचने की संभावना है। जिले के लिए इस तरह का समृद्ध साहित्यिक आयोजन होना ख़ुशी का अवसर है।आयोजन में प्रवेश सभी के लिए खुला है। उदघाटन सत्र शनिवार दोपहर दो बजे शुरू होगा। आपसी संवाद के इस मौके पर वक्ताओं से बातचीत के लिए श्रोताओं को भी अवसर मिलेगा। रविवार को सुबह नौ बजे से शाम पांच बजे तक दो सत्र होने हैं। आमंत्रित वक्ताओं के विभिन्न क्षेत्रों से बुलाए जाने से कार्यक्रम में विशेष रूचि दिखाई जा रही है।