दादाबाड़ी में खुले ज्ञान वाटिकायेंःमणिभद्र सूरीश्वर महाराज
उदयपुर। खरतरगच्छाधिपति आचार्य जिनमणिप्रभसूरीश्वरजी म.सा. के 53 वंे संयम जीवन वर्ष में पदार्पण के इस अलौकिक अध्यात्म यात्रा का आज हर्षोल्लास के साथ मनाया। श्रावको ने कहा कि खरतरगच्छ को गुरूदेव की निश्रा में जो विशाल विस्तार एवं चारों दादा गुरुदेव की असीम कृपा भक्तों ओर गच्छ अनुयायियों पर बरसा कर सधर्म की धारणा कर रहे हैं वह अतुलनीय है।
आज उदयपुर में गुरुदेव के संयम जीवन वर्ष को संयम, तप और त्याग के रूप में मनाने के लिए एक नियमावली गुरुदेव को समर्पित खरतरगच्छ महिला परिषद की बहिनों और खरतरगच्छ युवा परिषद भाइयों ने नियम लिए गुरुदेव ने ध्यानपूर्वक सुना तथा अपना आशीर्वाद प्रदान किया।
महिला परिषद की अध्यक्षा श्रीमती वन्दना गन्ना ने इस अवसर पर सुंदर व मधुर कंठ से गुरु निष्ठा पर गीत गा कर उपस्थित भक्तों का मन मोह लिया । जिन धर्म , गच्छ और गुरुदेव के प्रति अपनी सच्ची निष्ठा को प्रकट किया।
गुरुदेव ने शुभाशीर्वाद देते हुए बताया कि अपने को शीघ्र ही दादावाड़ी में ज्ञान वाटिका शुरू करनी चाहिए।
परिषद की वंदना, सुषमा तथा अनिता सिरोया ने तथा युवा परिषद के रमेश गन्ना, सुभाष महात्मा ने पूरा सहयोग देने के लिए सहमति दी। इसके लिए ट्रस्ट मंडल तथा सभी धर्मानुरागी भाई बहिनों का सहयोग देने का आश्वासन दिया। इस अवसर पर मध्यप्रदेश व रायपुर बह से गुरु भक्त भी मौजूद रहे। आज की विहार सेवा का पुण्यार्जन युवा परिषद के बिट्टू खाबिया ने लिया।
आचार्य मणिभद्र सूरीश्वर महाराज का 53 वां संयम दिवस मनाया
