विद्यार्थियों ने राजस्थानी, पंजाबी, रिमिक्स गानों पर जमकर दी प्रस्तुतियॉ
शिव तांडव ने दर्शकों को किया मंत्रमूग्ध
बनी थारों चांद सरी को मूखड़ो, कोई नजर नहीं लग जाये …
भारतीय, संस्कृति, सभ्यता को बचाये रखने का जिम्मा युवाओं का – प्रो. सारंगदेवोत
स्वयं श्रेष्ठ बना दूसरों को भी आगे बढ़ाए ………….
उदयपुर 19 नवम्बर / जनार्दनराय नागर राजस्थान विद्यापीठ डीम्ड टू बी विश्वविद्यालय के संघटक लोकमान्य तिलक शिक्षण प्रशिक्षण महाविद्यालय की ओर से शनिवार को महाविद्यालय के सभागार में आयोजित स्नेह मिलन एवं सांस्कृतिक समारोह का उद्घाटन कुलपलि प्रो. एस.एस. सारंगदेवोत, कुल प्रमुख, प्राचार्य प्रो. सरोज गर्ग, सुभाष बोहरा ने मॉ सरस्वती की प्रतिमा पर दीप प्रज्जवलित कर किया। डॉ. रचना राठौड ने बताया कि स्नेह मिलन समारोह में विद्यार्थियों ने भारतीय संस्कृति से ओतप्रोत गणेश वंदना, सत्यम शिवम् सुन्दरम, समूह नृत्य नाटिका , देश भक्ति गीत, राजस्थानी नृत्य पधारो म्हारे देश, बनी थारो चांद सरी को मूखडो – कोई नजर नहीं लग जाये, शिव ताण्डव , समूह नृत्य राजस्थानी घूमर व गुजरात का गरबा डांस कर सभी को मंत्र मूग्ध कर दिया। विद्यार्थियों ने समाज में व्याप्त कुरूतिया बाल विवाह, कन्या भ्रूण हत्या, बेटी बचाओ – बेटी पढाओं पर नाटक का मंचन कर सभी को भाव विभोर कर कर दिया।
इस अवसर पर प्रो. सारंगदेवोत ने कहा कि भारतीय संस्कृति, सभ्यता एवं परम्परा को भावी पीढ़ी के लिए सुरक्षित रखने का जिम्मा युवाओं पर है, इसलिए हार, जीत की परवाह किए बिना, महाविद्यालय द्वारा आयोजित सभी प्रतियोगिता में भाग ले। उन्होने कहा कि जीवन के हर क्षेत्र चाहे वो व्यवसायिक हो या सामाजिक बेहतरीन परिणामों के लिए निरन्तर प्रयासरत रहना पड़ता है। व्यक्ति का श्रेष्ठ बनाना अपने लिए ही नहीं दूसरे व्यक्तियों के लिए भी मददगार साबित होता है क्योंकि जब आप स्वयं अच्छे बनते हो तो इसरो को भी श्रेष्ठ बना सकते हो। वर्तमान पीढ़ी पर दोहरी जिम्मेदारी है उन्हें वर्तमान को संवार कर भविष्य को सुनहरा बनाना है। साथ ही प्रकृति और पर्यावरण संरक्षण के माध्यम से आने वाली पीढ़ी के लिए सुरक्षित पर्यावरण निर्मित करने के प्रयास किए जाने चाहिए।
समारोह पूर्व छात्र छात्राआंे की रस्सा कस्सी प्रतियोगिता भी आयेाजन किया गया। छात्र प्रतियोगिता में जनुभाई परिषद् प्रथम, तिलक परिषद् द्वितिय, गिजु भाई परिषद् तृतीय स्थान पर, छात्रा प्रतियोगिता में जनुभाई परिषद् प्रथम, तिलक परिषद् द्वितिय, गिजु भाई परिषद् तृतीय स्थान पर रही। सभी विजयी प्रतिभागियों को आगामी दिनों में होने वाले वार्षिकोत्सव समारोह में सम्मानित किया जायेगा।
कुल प्रमुख भँवर जी गुर्जर ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वर्तमान मे शिक्षा व्यवस्था की गड़बड़ाती दशा पर चिन्ता व्यक्त करते हुए नवागन्तुक विद्यार्थियों को सही मार्ग पर चलते हुए शिक्षा प्राप्ति के लिए प्रेरित किया।
समारोह में डॉ. अमी राठौड, डॉ. बलिदान जैन, डॉ. रचना राठौड, डॉ. सुनिता मुर्डिया, डॉ. अनिता कोठारी, डॉ. अमित दवे, डॉ. हरीश चौबीसा, डॉ. हरीश मेनारिया, डॉ. हिम्मत सिंह चुण्डावत, डॉ. पल्लव पाण्डे्य, डॉ. गुणबाला आमेटा, डॉ. इंदू आचार्य, डॉ. रेणू हिंगण, डॉ. शानू शक्तावत, डॉ. रोहित कुमावत सहित छात्र छात्राए उपस्थित थे।
संचालन डॉ. हरीश चौबीसा ने किया जबकि आधार डॉ. रचना राठौड ने दिया।