एक ऐसी व्यक्तित्व, जो किसी पद या परिचय की मोहताज नहीं थी—डॉ. गिरिजा व्यास। वे केवल एक राजनेता नहीं थीं, बल्कि एक सच्ची जनसेविका थीं, जिनका हृदय उदयपुर और मेवाड़ के लिए धड़कता था। उनकी कार्यशैली में राजनीतिक सीमाओं से परे जाकर जनहित सर्वोपरि था। चाहे वे सांसद रही हों, महिला आयोग की अध्यक्ष या एक सामान्य नागरिक की मददगार—हर भूमिका में उन्होंने सिर्फ और सिर्फ सेवा को ही प्राथमिकता दी।
उनका व्यक्तित्व सहज, सशक्त और प्रेरणादायक था। जब भी किसी ने सहयोग की अपेक्षा की, गिरिजा जी ने बिना देर किए मानवीय संवेदनाओं से भरपूर सहायता प्रदान की। मुझे स्वयं वह क्षण स्मरण है, जब मैं अपने विद्यालय राजसमंद विद्यालय के लिए सीबीएसई से संबद्धता हेतु प्रयासरत था। किसी ने सुझाव दिया कि किसी राजनीतिक व्यक्ति से संपर्क करें। जब मैं गिरिजा जी के पास गया, उन्होंने बिना एक पल गंवाए सीधे CBSE के चेयरमैन को फ़ोन कर यह कहा – “ये मेरा विद्यालय है, ये कार्य आज ही होना चाहिए।” यह केवल एक कार्य नहीं था, यह उनके विराट हृदय और जनप्रतिनिधि की संवेदनशीलता का प्रमाण था।
आलोक गुरुकुल परिवार एवं अखिल भारतीय नववर्ष समारोह समिति की ओर से हम डॉ. गिरिजा व्यास जी को विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। उनका जीवन, कार्य और विचार सदैव हम सबके लिए प्रेरणा का स्रोत बने रहेंगे।
“आपका मार्गदर्शन और आपका स्नेह मेवाड़ की माटी में अमिट रहेगा।”
डॉ. गिरिजा व्यास – मेवाड़ की जन-जन की नेत्री
